एकाग्रता


मैं वो हूं जिसे सब चाहते है
बिन मेरे न कुछ कर पाते है
मैं तितली हूं या हूं गौरैया
छू हो जाऊं, पल भर में भैया
मुझे खोने के कई कारण है
कुछ गंभीर कुछ साधारण है
बच्चे मुझे समझ नहीं पाते 
बड़े मुझे पकड़ नही पाते
महत्व मेरा इतना गहरा
लगेगा जैसे समय है ठहरा
सूर्य की किरणे मुझे जो पाती 
लग जाती है आज कहीं
एक और मेरा चचेरा भाई
तुलना में मुझसे बिल्कुल अलग है
दोस्त मेरे है ठराव और शांति
फोन, टीवी से नही मेरी बन पाती
मैं बस तुम्हारा चाहती भला हूं
मुश्किल से पकड़ मैं आऊं
ऐसी बाला हूं
स्थिर मस्तिष्क है मेरा रास्ता
चंचल मन में मैं न बसता
सरल सवाल न तुमसे बुझता
अंग्रेजी में कहते कंसंट्रेशन
नाम मेरा है एकाग्रता

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